रांची:रांची के पिठौरिया थाना क्षेत्र के ओएना गांव में अवैध तरीके से चलाए जा रहे शराब फैक्ट्री का पुलिस के द्वारा खुलासा करते हुए पुलिस ने बालमुकुंद कुमार, निराला उर्फ राहुल शर्मा, बिट्टू कुमार, तापस मंडल, नितई बनर्जी और गौतम कुमार पांच लोगों को मुख्य आरोपी बना कर गिरफ्तार किया है। इस संबंध में रांची के ग्रामीण एसपी नौशाद आलम ने बताया कि एसएसपी सुरेंद्र कुमार झा को गुप्त सूचना मिली थी कि इलाके में अवैध तरीके से शराब फैक्ट्री का संचालन किया जा रहा है।सूचना के बाद एक विशेष टीम गठित कर छापेमारी की गई छापेमारी के दौरान 5 लोगों को गिरफ्तार किया गया । ग्रामीण एसपी ने बताया कि छापेमारी टीम ने 17 प्रकार के विभिन्न अंग्रेजी ब्रांड के नकली शराब की बरामदगी की हैं। इनमें आफ्टर डार्क, ब्लैक डॉग, टीचर्स, सिग्नेचर, ब्लेंडर्स प्राइड, बैट 69, किंग गोल्ड, बैरल सिलेक्ट, बुलेट, रॉयल चैलेंज, मैकडॉवेल, किंग गोल्ड,100 पाइपर्स, किंगफिशर बियर और इंपिरियल ब्लू के ब्रांड शामिल हैं। एसपी ने यह भी बताया कि शराब को खपाने के लिए परिवहन में प्रयुक्त 6 लग्जरी गाड़ियां और एक पिकअप गाड़ी भी बरामद की गई है।
रांची के आसपास के इलाकों और बिहार तथा बंगाल राज्य में भी आपूर्ति की जाती थी शराब
इसके अलावा बड़े पैमाने पर सील और पैक के लिए कॉर्क और विभिन्न ब्रांड के रेफर और काफी मात्रा में खाली बोतल और पैकिंग के सामान बरामद हुए हैं। इन अवैध कारोबार को संचालित करने वाले पांच अपराधियों को गिरफ्तार किया गया है।
जिसमें कारोबार के मुख्य सरगना बालमुकुंद कुमार निराला उर्फ राहुल शर्मा की भी गिरफ्तारी हुई है। यह शराब का रैकेट अंतरराज्यीय हैं। यहां से बना नकली शराब को रांची के आसपास के इलाकों और बिहार तथा बंगाल राज्य में भी आपूर्ति की जाती रही है।साथ ही अवैध शराब के व्यवसाय से प्राप्त दो लाख 9 हजार 690 रुपए की बरामदगी भी की गई है। छापेमारी में लगभग 30 लाख रुपये का विदेशी शराब जब्त किया गया है। ग्रामीण एसपी नौशाद आलम ने बताया कि लंबे समय से मुख्य आरोपित बालमुकुंद कुमार निराला उर्फ राहुल शर्मा अवैध नकली विदेशी शराब का कारोबार कर रहा था।
झारखंड के अलावा बिहार, यूपी, हरियाणा,अरुणाचल प्रदेश ,दिल्ली और पंजाब सहित कई अन्य राज्यों में अवैध शराब का खेप भेजा करता था। अभी तक 50 लाख से ज्यादा का नकली विदेशी शराब मार्केट में सप्लाई कर चुका है।
एक बोतल शराब बनाने में 200 रुपये खर्च होते थे। उसे महंगे दामों में बेचा जाता था। छापेमारी टीम में सिल्ली डीएसपी चंद्रशेखर आजाद, श्याम किशोर महतो, विजय कुमार सिंह, विनोद राम, वीरेंद्र कुमार, जमादार मुंडा, जयप्रकाश दास, कामेश्वर राम, संजय दास, सदानंद और उत्पाद विभाग की टीम सहित सशस्त्र बल शामिल थे ।