सरायकेला
कृषि ऋण माफी के नाम पर हेमंत सोरेन सरकार ग़रीब किसानों के साथ सिर्फ छलावा कर रही है. इससे ग़रीब किसानों को कोई भी राहत नहीं है. सरकार इस योजना का ढिंढोरा पीट कर जनता को गुमराह कर रही है. उक्त बातें सोमवार को भारतीय जनता पार्टी के जिलाध्यक्ष श्री विजय महतो ने एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर के कही. श्री महतो ने कृषि ऋण माफी योजना को लेकर हेमंत सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि इस योजना के तहत एनपीए हो चुके खाताधारक किसानों को ऋण माफी का कोई लाभ नहीं मिल रहा है जिसका सीधा अर्थ है कि केवल उन्हीं किसानों का ऋण माफ होगा जो ऋण लौटा पाने में समर्थ हैं. तो जबकि सक्षम लोगों का ही ऋण माफ होगा तो उन गरीब किसानों का क्या होगा जो ऋण लौटा पाने में असमर्थ हैं. आंकड़ों की मानें तो राज्य भर में अधिकांश किसानों के खाते एनपीए है. ऐसे में यदि उन्हें ऋण माफी का लाभ नहीं मिलेगा तो फिर उन्हें आत्महत्या को विवश होना पड़ेगा. इसके अलावा इस योजना के तहत केवल मूलधन ही माफ़ की जाएगी तो आखिर ग़रीब किसान ब्याज के पैसे कहां से लाएगा. साथ ही योजना में जिक्र है कि जिनका राशन कार्ड है उन्हीं को इस योजना का लाभ मिलेगा. विदित हो कि विभागीय लापरवाही की वजह से अधिकांश किसानों का राशन कार्ड तक नहीं बन पाया है तो वे सभी इसके लाभ से वंचित रह जाएंगे. ऐसे में वे किसान कहां जाएंगे. राज्य सरकार को स्पष्ट करना चाहिए कि आखिर यह ऋण माफी योजना किसके लिए है. राज्य भर के अधिसंख्य गरीब किसान जब ऋण माफी योजना का लाभ नहीं ले पा रहे हैं तो आखिर उनके लिए सरकार ने कौन सी वैकल्पिक व्यवस्था रखी है. यक्ष प्रश्न है कि इस तरह आई वॉश कर ग़रीब किसानों की भावना से आखिर खिलवाड़ क्यों कर रही है हेमंत सरकार. इन सभी सवालों का जवाब जनता जरूर लेगी. किसानों के हक, अधिकार और सुविधाओं के लिए भारतीय जनता पार्टी हर लड़ाई लड़ने के लिए तत्पर है. सरकार को ऋण माफी योजना की शर्तों में बदलाव करना ही होगा अन्यथा भाजपा राज्यव्यापी आंदोलन करेगी.