पोटका प्रखंड के हाता स्थित श्रीश्री योगेश्वरी आनंदमयी सेवा प्रतिष्ठान,माताजी आश्रम में जगत जननी माँ सारदा देवी की 169 वी जयंती विविध करजयक्रमो के साथ धूमधाम से मनाई गई।इस अबसर पर सुबह 9 बजे सारदा माँ की बिशेष पूजा की गई।इसके अलावे मातृ संगीत प्रस्तुत की गई जिसमें पतित पावन दास, सुनील कुमार दे,प्रबीर दास, तड़ित मंडल,बीथिका मंडल,सहदेव मंडल, आदि ने भाग लिया।शंकर चंद्र गोप ने रामकृष्ण कोथामृत पाठ किया।नीतू दे,शिला पालित,लोचना मंडल,सुजाता मरल ने मा सारदा देवी की जीवनी और वाणी पाठ किया।11 बजे सारदा माँ की महान जीवनी बिस्तार पूर्वक बताते हुए सुनील कुमार दे कहा,,माँ सारदा देवी स्वयं भगवती थी।उन्होंने मानव शरीर धारण करके भगवान रामकृष्ण के साथ आये थे।माँ सारदा देवी नारी जाति के लिये प्रेरणा और आदर्श है।माँ सारदा देवी का आदर्श मानकर एक नारी आदर्श नारी बन सकते हैं। सवेरे 12:00 बजे आरती,पुष्पांजलि,होम हुआ।1 बजे उपस्थित भक्तजनों को खीचूड़ी भोग खिलाया गया।2 बजे हरिनाम संकीर्तन और हरिलुट के बाद जयंती के समापन हुआ।करजयक्रमो का संचालन सुनील कुमार दे ने किया।इस अबसर पर चंद्रवती महतो,सुनील महतो,करुणामय मंडल,अशोक भट्टाचार्य, बिरेन पाल, हीरालाल दे,रघुनंदन बनर्जी, दुलाल मुखर्जी, शंकर चंद्र गोप,सुब्रत दे,कृष्ण कांत मंडल,महेश बियानी,मोहितोष मंडल,प्रशांत मंडल,जयदेव बनर्जी,सनातन महतो, हिरण महतो,नारायण चटर्जी,रबिन्द्र नाथ दास, स्वपन मंडल,बिरेन मंडल,असीम मंडल,झरना साहू,बन्दना मंडल,स्वपन दे,तरुण दे,तपन मंडल,उज्वल मंडल,समीर मंडल,सुधांशु मंडल,मोनी पाल, मधु भट्टाचार्य, साधना बनर्जी, बकुल मिश्र,निशित दास, भजन सेनगुप्त,कालिंदी नव नाट्य समिति भुइयांडीह के अलावे बिभिन्न गांव के भक्त और महिलाये काफी संख्या में उपस्थित थे।
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