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Thu. Mar 13th, 2025

महुआडांड़ के कुकुद पाठ के रहने वाले 60 वर्षीय वृद्ध ने दिखाई साहस, जंगली भालू को पछाड़कर पहुंचा घर। हुआ घायल।

महुआडांड़ की कुकुट पाठ के रहने वाले भरत नगेसिया उम्र 60 वर्ष पर जंगली भालू ने पीछे से आकर अचानक हमला कर दिया। जिससे उसके सर पर काफी चोट आई है। सर में तीन स्थानों पर भालू ने अपने पंजे से चीर दिया है जिसके कारण वह बुरी तरह से जख्मी हो गया। घटना की जानकारी देते हुए उसके परिवार अंतू नगेसिया ने बताया कि वह खेत में लगे मटर का पहरा देने सुबह से गया हुआ था।खेत में बैठकर पहरा दे रहा था इसी दरमियान लगभग 3:00 बजे जंगली भालू ने पीछे से आकर अचानक हमला कर दिया। मटर का खेत घर से लगभग 1 किलोमीटर की दूरी पर था जहां से चिल्लाने पर किसी को आवाज भी सुनाई नहीं देता। वह साहस दिखाकर जंगली भालू से लड़ा और उससे जंगल की ओर भगा दिया। जंगली भालू के वार से वह बुरी तरह से जख्मी हो गया। और किसी तरह जख्मी हालत में घर पहुंचा। उस वक्त उसके सर से बहुत ज्यादा खून बह रहा था हम लोगों के द्वारा सर को मजबूती से कपड़े से बांध दिया गया ताकि खून का बहाव कम हो सके। उसके बाद हम लोगों के ने भरत नगेसिया को गांव का ही एक वाहन बुक करके महुआडांड़ वन विभाग लाए और वन विभाग को इसकी जानकारी देदी। जहां वन विभाग की कर्मियों के द्वारा तत्परता दिखाते हुए तत्काल सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र महुआडांड़ लाया गया। जहां चिकित्सा प्रभारी अमित खलखो एवं स्वास्थ्य कर्मियों के द्वारा प्राथमिक उपचार किया गया। इस संबंध में चिकित्सा प्रभारी अमित खलखो ने बताया कि भारत नगेसिया के सिर पर तीन स्थानों पर भालू के पंजे से वार किया गया है। जिसके कारण सर तीन स्थानों पर फटा हुआ है। हम लोगों के द्वारा सभी स्थानों टांका लगा दी गई है।और बेहतर इलाज हेतु रेफर कर दिया गया है। महुआडांड़ हॉस्पिटल लाने वालों में पुत्री रधवा नगेसिया अंतू नगेसिया, संजय नगेसिया, भुनेश्वर नगेसिया का नाम शामिल है। वही इलाज के दौरान महुआडांड़ वन विभाग से वनपाल अजय टोप्पो परेवा कुकुद के वंरक्षी साकेत पांडे उपस्थित थे। दूसरी ओर महुआडांड़ वन विभाग के वनपाल अजय टोप्पो ने बताया कि किसी भी जंगली जानवर के द्वारा किसी व्यक्ति को नुकसान पहुंचाया जाता है तो विभाग के द्वारा तीन कैटेगरी की मुआवजा राशि उपलब्ध कराई जाती है।(1)अगर जंगली जानवर के हमले से किसी व्यक्ति की मृत्यु हो जाती है तो 4 लाख,( 2) अपंग होने पर 2 लाख और( 3) अगर हालत गंभीर हो तो तो विभाग के द्वारा 1 लाख की राशि मुआवजे के रूप में दी जाती है। वही भरत नगेसिया का प्राथमिक उपचार हम लोगों के द्वारा कराया जा रहा है। जिसे बेहतर इलाज हेतु डॉक्टर के द्वारा रेफर कर दिया गया है। इलाज के दौरान भारत नगेसिया को में वन विभाग के द्वारा ने हर संभव मदद की जाएगी।

संवाददाता  शहजाद आलम महुआडांड़ से रिपोर्ट बबलू खान की

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