देश के अधिकांश राज्यों में कोरोना के कारण से बेहद बिगड़ते हालात और दम तोड़ती चिकित्सा व्यवस्था ने लोगों के मन में कोरोना का एक भय उत्पन्न कर दिया है जिसको बहुत गंभीर मानते हुए कॉन्फ़ेडरेशन ऑफ़ आल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) ने हाल ही में एक ऑनलाइन सर्वे किया है जिसमें अधिकांश लोगों ने यह अपनी राय जाहिर करते हुए देश में एक “राष्ट्रीय लॉक डाउन” लगाने की बात कही है और वैसे राज्यों जिसकी स्थिति ख़राब है उन राज्यों के लिए एक केंद्रीय मंत्री को नोडल मंत्री के रूप में नियुक्त करने की बात भी कही है !
कैट ने प्रधानमंत्री श्री मोदी को यह भी सुझाव दिया है की यदि राष्ट्रीय लॉक डाउन न लगाना हो तो ऐसे स्तिथि में जो राज्य कोरोना से ज्यादा प्रभावित हैं उनमें तुरंत लॉक डाउन लगाया जाए ! कैट ने प्रधानमंत्री श्री मोदी को यह भी आश्वासन दिया है की राष्ट्रीय लॉक डाउन लगने की स्तिथि में पिछले वर्ष की तरह इस बार भी देश के नागरिकों को आवश्यक वस्तुओं की उपलब्धता में कोई कमी नहीं होने देगा !
कैट के राष्ट्रीय सचिव सुरेश सोन्थालिया ने कहा की कैट द्वारा कराये गए सर्वे में देश के लगभग 9117 लोगों ने भाग लेकर अपनी राय जाहिर की है ! सर्वे में
78 .2 % लोगों ने कहा है की कोरोना देश में बेकाबू हो गया है वहीँ दूसरी ओर 67 .5 % लोगों ने देश में एक राष्ट्रीय लॉक डाउन लगाने की वकालत की है ! देश भर में 73 . 7 % प्रतिशत लोगो ने माना है की प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी कोरोना महामारी से निपटने में सक्षम है वहीँ 82 .6 % लोगों ने किसी एक केंद्रीय मंत्री को राज्यों का प्रभारी मंत्री मनोनीत कर कोरोना से निपटने की जोरदार पैरवी भी की है !
श्री सोन्थालिया ने कहा की वर्तमान में देश भर में कोरोना से 4 लाख से अधिक लोग रोज संक्रमित हो रहे हैं और इस अनुपात में चिकित्सा व्यवस्था उपलब्ध नहीं है जिसको तुरंत चुस्त दुरुस्त करना जरूरी है, ऐसे में अब राष्ट्रीय लॉक डाउन ही एकमात्र विकल्प है जिससे कोरोना महामारी की बढ़ती संख्या को रोका जा सकता है !उन्होंने कहा की इससे पहले की कोरोना सामुदायिक रूप से फ़ैल जाए , उसके लिए कोरोना पर अब लगाम कसना बेहद जरूरी है ! सही समय पर इलाज न मिलने के कारण से मृत्यु दर भी बढ़ती जा रही है ! उन्होंने कहा की पिछले वर्ष की तरह एक राष्ट्रीय लॉक डाउन लगे जिसका सख्ती से पालन किया जाए तभी कोरोना को रोका जा सकता है !
श्री सोन्थालिया ने यह भी कहा की किसी भी लॉक डाउन से सबसे ज्यादा नुक्सान व्यापारियों का होता है किन्तु फिर भी ” राष्ट्र प्रथम” को अपना पहला कर्तव्य मानते हुए हम प्रधानमंत्री श्री मोदी से लॉक डाउन लगाए जाने की मांग कर रहे हैं ! उन्होंने यह भी आग्रह किया की लॉक डाउन की स्तिथि में सरकार को जीएसटी, आय कर तथा अन्य करों की देयता तथा अन्य संवैधानिक पालना को भी स्थगित करना होगा और वहीँ बैंकों को भी यह निर्देश देना होगा की वो व्यापारियों को वो रकम वसूली अथवा ब्याज को फिलहाल स्थगित करे तथा व्यापारियों के यहाँ जो कर्मचारी काम कर रहे हैं उनकी तनख्वाह देने में सरकार वित्तीय सहायता दे !
बहुत से राज्यों के सन्दर्भ में श्री सोन्थालिया ने कहा की वर्तमान में हालत बेहद बदतर और चिंताजनक है ! सरकारे दिशाहीन है और कोरोना महामारी से निपटने में अक्षम है !