Jamshedpur:जैसा कि सभी को पता है श्री कृष्णजन्माष्टमी, भगवान श्रीकृष्ण के जन्म की खुशी में मनाई जाती ह। हर साल इस मास में जन्माष्टमी की धूम रहती है लेकिन, इस बार मंदिरों में विरानगी छाई हुई है। सार्वजनिक तौर पर पूजन समारोह में भाग न लेकर लोग घरों में ही इसकी [embedyt] https://www.youtube.com/watch?v=FegBGCyaR6M[/embedyt]तैयारी कर श्री कृष्ण जन्माष्टमी मना रहे हैं। कुछ श्रृद्धालु मंदिरों में भी जाकर पूजा अर्चना करते नजर आए। चारो तरफ बाजे शहनाई, खुशियां ही खुशियां छाई कि श्रीकृष्ण जन्माष्टमी आई जैसे गीत गूंज रहे हैं। आम वो खास सब यह त्योहार मना रहे हैं और इस बार भगवान श्रीकृष्ण से कोरोना संक्रमण से मुक्ति दिलाने की कामना भी कर रहे हैं। श्री कृष्ण जन्माष्टमी के मौके पर मऊभंडार शिव मंदिर में प्रत्येक वर्ष झांकियां निकलती थी। हाथी-घोड़े और गाजे-बाजे के साथ जन्मोत्सव मनाया जाता था। मगर इस बार वैसा कुछ नहीं हो रहा। लोगों का कहना हैं कि कोरोना संक्रमण काल ने जन्माष्टमी का रंग फीका कर दिया है। हर साल घरों से लेकर मंदिरों तक में की जानेवाली तैयारी में इस बार उत्साह नहीं दिख रहा है। बाजार में भी चमक नहीं दिख रही। वैश्विक संक्रमण के दौर में यह स्वाभाविक भी है कि हम खुद के साथ औरों को सुरक्षित रखते हुए घर में ही भक्तिभाव के साथ भगवान कृष्ण की आराधना करें। घर में ही दूध से बने व्यंजन, माखन-मिश्री का भोग लगाना श्रेयस्कर है। इस संबंध में राम जानकी मंदिर के पुजारी कन्हैया पांडेय कहते हैं कि मंगलवार को गृहस्थ व बुधवार को साधु-संत समाज जन्माष्टमी मनाएगा। घर-घर प्रभु का वास है। प्रभु भाव से प्रसन्न होते हैं, अत: हम सामाजिक दायित्वों का निर्वाह करते हुए मंदिरों की जगह घरों में मंत्रोच्चार के साथ उनकी पूजा-अर्चना करें।